लक्ष्मी ने राम के भरोसे विभाग छोड़ लक्ष्मणपुरम का भ्रमण किया ---सीडीपीओ ने इलाज को चिकित्सा के बजाय पर्यटन माना ----हड़बड़ी में गड़बड़ी का कारनामा। ---आरटीआई के बाद घोर लापरवाही का खुलासा। ---बिना पूर्व स्वीकृति के मुख्यालय से बाहर रहने का आरोप। विक्रमजोत, बस्ती, 23 नवम्बर 2020। नित नए कार्य कलाप के लिए विख्यात सीडीपीओ ने अब विभाग को राम भरोसे छोड़कर राजधानी के भ्रमण का कार्यक्रम बनाया है जिसका खुलासा एक आरटीआई में स्वयं सीडीपीओ ने ही किया है। जानकारी के अनुसार जनपद बस्ती के विक्रमजोत की सीडीपीओ लक्ष्मी पाण्डेय 13 से 15 अक्टूबर 2020 तक मुख्यालय के बजाय लक्ष्मणपुरम भ्रमण पर थीं जिसका खुलासा उनके कार्यालय पर कवरेज करने गए कुछ संवाददाता ने किया था। इस विषय पर जब वरिष्ठ समाजसेवी अधिवक्ता आर के पाण्डेय ने आरटीआई में जवाब मांगा तो बेहद चौंकाने वाले तथ्य स्वयं सीडीपीओ द्वारा ही सामने लाये गए जिसके अनुसार वह बिना अवकाश स्वीकृत कराए व बिना पूर्व अनुमति के मुख्यालय से बाहर रहीं व आरटीआई की जानकारी हो जाने के बाद 29 अक्टूबर 2020 को डीपीओ को प्रार्थना पत्र दिया। इससे बड़ा रोचक तो यह है कि इलाज के अवकाश को सीडीपीओ चिकित्सा अवकाश नही मानती। फिलहाल डीपीओ ने उनके प्रार्थना पत्र पर ही चेतावनी जारी कर दी है। लेकिन बड़ा सवाल यह है कि आखिर पूरा विभाग एक सीडीपीओ के आगे कैसे व क्यों नतमस्तक है? सीडीपीओ के अनुसार उन्होंने अपना चार्ज सुपरवाइजर कुमुद सिंह को दिया था परंतु कुमुद सिंह के दो बार दिए बयान के अनुसार उन्हें सीडीपीओ द्वारा कोई चार्ज ही नही दिया गया था। ऐसे में बड़ा यक्ष प्रश्न यह है कि इतने बड़े लापरवाही व भ्रष्टाचार के मुद्दे पर आखिर विभाग की वह कौन सी मजबूरी है जिसके कारण पूरा विभाग इस दबंग सीडीपीओ के आगे किंकर्तव्यविमूढ़ है?