कौशाम्बी : महिला कल्याण विभाग प्रोबेशन कार्यालय में कार्यरत हैं | डिस्ट्रिक्ट कोऑर्डिनेटर के पद से महिलाओं को जागरूक करने का कार्य करती हैं | स्कूल कॉलेज ग्राम स्तर पर महिलाओं को बच्चियों को कानून व्यवस्था हेल्पलाइन नंबरो 1098, 1090, 112, 1076, 108, 181, जानकारी प्रदान करना हैं |

सभी विभागीय योजनाओं के बारे में जानकारी देना जैसे महिला कल्याण विभाग से रानी लक्ष्मी बाई सम्मान कोस, विधवा पेंशन, विधवा पुन र्विवाह, समाज कल्याण विभाग से सड़क दुर्घटना क्लेम, पिछड़ा वर्ग से शादी अनुदान स्कॉलरशिप के लिए कार्य करती हैं |श्रम विभाग,अल्पसंख्यक विभाग, आईसीडीएस ऐसे कई विभाग जिनकी योजनाओं का प्रचार प्रसार इनकी टीम के द्वारा किया गया हैं | मिशन शक्ति अभियान के तहत एक तरफ सरकार समाज को नई दिशा, नई सोच देने में लगा हैं, वही मिशन शक्ति अभियान के तहत “उमा साहू ” ने अपने क्षेत्र में बालिकाओं को कंप्यूटर, सिलाई, कढ़ाई एवं शिक्षा का ज्ञान देकर आत्मनिर्भर बनाने में निरन्तर प्रयासरत् हैं | श्रमिक कार्ड बनवाना रोजगार के साथ आगे बढ़ाना हैं | लाचार महिलाओं को कानून द्वारा न्याय दिलवाना उनकी कार्य का अहम हिस्सा हैं | सरकार द्वारा चलाई गई योजनाओं में फार्म आदि भरवाकर उनकी सहायता करती हैं। इसी तरह मिशन शक्ति अभियान के अंतर्गत विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम किए हैं|

उन्होंने ने बताया कि मिशन शक्ति अभियान 17 अक्टूबर 2020 सर्दीय नवरात्र के प्रथम दिन से शुरू हुआ हैं | जो चैत्र नवरात्रि के समापन वाले दिन कि इस अभियान का समापन होगा | इस अभियान में नुक्कड़ नाटक के माध्यम से बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, बाल विवाह, कन्या भ्रूण हत्या, आदि जैसे मुद्दों पर लोगों को जागरूक किया | सभी विभाग की योजनाओं का विस्तार पूर्वक प्रचार प्रसार किया गया | ग्रामीण स्तर पर कई महिलाएं ऐसी भी मिले जिनको वृद्धा पेंशन विधवा पेंशन जैसी योजनाओं की सख्त जरूरत थी और कई बार परेशान होने के बावजूद भी वह अपनी पेंशन बनवाने में कामयाब नहीं हुई अतः ब्लॉक स्तर ग्राम स्तर पर जब हम लोग प्रचार प्रसार के लिए गए तब हमने योजनाओं के बारे में लोगों को बताना शुरू किया | असर दिखा कि वे महिलाएं हमारे सामने आई जो कई दिन से परेशान थी कि हमारी अभी तक पेंशन नहीं बनी, उनके सभी दस्तावेज लेकर हमने उनके पेंशन बनवाई | तथा इसी प्रकार जो गरीब परिवार की लड़कियों के माता पिता को उनके विवाह हेतु शादी अनुदान भी दिलाया | मिशन शक्ति के अंतर्गत स्कूल कॉलेजों में बच्चियों ने खुलकर अपनी परेशानियां हमसे बताई जिसके निदान हेतु बच्चियों को उचित मार्गदर्शन किया गया |

मेरा सपना था मैं पढ़ लिखकर कोई बड़ी अफसर बनू ! लेकिन मैं नहीं बन पाई क्योंकि मेरा परिवार बड़ा था | जिसमे छह बहने और दो भाई थे बड़ा परिवार होने के कारण मेरे घर की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी | मेरी दो बड़ी बहनों को सिर्फ पांचवी कक्षा तक पढ़ा कर उनकी शादी कर दी | उसके बाद जब मेरी बारी आई तो मेरी भी पढ़ाई रोक दी गई | लेकिन मैंने अपने पापा से कहा पापा मैं पढ़ना चाहती हूं लोगों के लिए कुछ करना चाहती हूँ | बड़े भैया ने कहा तुमसे दोनों बड़ी बहने पांचवी तक पढ़ी हैं और हम तुम्हें भी पांचवी तक पढ़ा रहे हैं इससे आगे हम तुम्हें नहीं पढ़ाएंगे | मैं अपने पापा की लाडली थी मेरे पापा मुझे बहुत प्यार करते थे मुझे आगे पढ़ना है, इसलिए मैंने एक दिन एक कागज पर अपनी सारी बातें लिखकर उनको दी जिसको पढ़ कर वो भावुक होकर मुझे बड़ी मेहनत से आगे पढाया |

उस दिन से मैंने ये तय किया कि लड़कियों महिलाओं को स्वालंबी बनाने के लिए मैं हर प्रयास करुँगी | और इस सोच को सही करने के लिए ईश्वर ने भी मेरा साथ दिया और मुझे ऐसे काम से जोड़ दिया | अब मैं महिलाओं, बच्चियों को बेहतर सहयोग कर उन्हें आगे बढ़ने में सहयोग करती हूँ | उनके आत्मविश्वाश को मजबूत करने में एक कड़ी की भूमिका निभाने में प्रयासरत् हूँ |